भारत माता की वाणी
हिंदी से जुडा पावन अवसर,
आओ करें संकल्प करेंगे
इसका प्रयोग हर स्तर पर...
हम रहें कहीं भी नहीं भूलते
जैसे अपनी माँ को,
याद रखेंगे वैसे ही हम
हिंदी की गरिमा को...
हिंदी से जुडा पावन अवसर,
आओ करें संकल्प करेंगे
इसका प्रयोग हर स्तर पर...
हम रहें कहीं भी नहीं भूलते
जैसे अपनी माँ को,
याद रखेंगे वैसे ही हम
हिंदी की गरिमा को...
इन्टरनेट पर जहाँ कहीं भी
अंग्रेजी हो मजबूरी,
वहाँ छोड़कर हो प्रयास कि
हिंदी से हो कम दूरी....
जाएँ विदेशों में भी तो
हम उन्हें सिखाकर आयें,
यही नहीं कि "हिन्दी दिवस" पर
खाली दें शुभकामनायें....
|| जय हिंद - जय हिन्दी ||
- विशाल चर्चित
#hindi_diwas #हिन्दी_दिवस #राष्ट्रभाषा
अंग्रेजी हो मजबूरी,
वहाँ छोड़कर हो प्रयास कि
हिंदी से हो कम दूरी....
जाएँ विदेशों में भी तो
हम उन्हें सिखाकर आयें,
यही नहीं कि "हिन्दी दिवस" पर
खाली दें शुभकामनायें....
|| जय हिंद - जय हिन्दी ||
- विशाल चर्चित
#hindi_diwas #हिन्दी_दिवस #राष्ट्रभाषा
शुभकामनाएं हिन्दी दिवस की।
जवाब देंहटाएंआभार भाई जी...
हटाएंजय हिन्द, जय हिन्दी..🌻
जवाब देंहटाएंहिन्दी दिवस की शुभकामनाएं।
तहरा के भी भाई
हटाएंनमस्ते,
जवाब देंहटाएंआपकी लिखी रचना ब्लॉग "पांच लिंकों का आनन्द" में मंगलवार 15 सितंबर 2020 को साझा की गयी है......... पाँच लिंकों का आनन्द पर आप भी आइएगा....धन्यवाद!
आपका हृदय से आभार भाई जी, अति व्यस्तता के कारण आपका यह निमंत्रण देख नहीं पाया... क्षमा प्रार्थी हूँ...
हटाएंआपकी इस प्रविष्टि् की चर्चा कल बुधवार (16-09-2020) को "मेम बन गयी देशी सीता" (चर्चा अंक 3826) पर भी होगी।
जवाब देंहटाएं--
सूचना देने का उद्देश्य है कि यदि किसी रचनाकार की प्रविष्टि का लिंक किसी स्थान पर लगाया जाये तो उसकी सूचना देना व्यवस्थापक का नैतिक कर्तव्य होता है।
--
हार्दिक शुभकामनाओं के साथ।
सादर...!
डॉ.रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक'
--
प्रणाम, आभार एवं क्षमा प्रार्थी हूँ सर कि अति व्यस्तता के कारण यहाँ आ नहीं पाया... हालांकि आपकी आज्ञानुसार अब जो थोड़ा बहुत समय मिलता है उसमें दूसरों के ब्लॉग पर भी जाकर पढ़ने और टिप्पणी का प्रयास करता हूँ।
हटाएंबहुत बढ़िया
जवाब देंहटाएंशुक्रिया भाई जी
हटाएंबहुत सुन्दर ...सिर्फ शुभकामनाएं देकर कुछ नहीं होगा..।
जवाब देंहटाएंहिन्दी दिवस की शुभकामनाएं।
धन्यवाद सुधा जी
हटाएंआदरणीय विशाल चर्चित जी, हिंदी दिवस की शुभकामनाएं!
जवाब देंहटाएंये पंक्तियाँ प्रेरक हैं:
हम रहें कहीं भी नहीं भूलते
जैसे अपनी माँ को,
याद रखेंगे वैसे ही हम
हिंदी की गरिमा को...! साधुवाद!
मैंने आपका ब्लॉग अपने रीडिंग लिस्ट में डाल दिया है। कृपया मेरे ब्लॉग "marmagyanet.blogspot.com" अवश्य विजिट करें और अपने बहुमूल्य विचारों से अवगत कराएं।
आप अमेज़ॉन किंडल के इस लिंक पर जाकर मेरे कविता संग्रह "कौंध" को डाउनलोड कर पढ़ें।
https://amzn.to/2KdRnSP
आप मेरे यूट्यूब चैनल के इस लिंक पर मेरी कविता का पाठ मेरी आवाज में सुनें। मेरे चैनल को सब्सक्राइब करें, यह बिल्कुल फ्री है।
https://youtu.be/Q2FH1E7SLYc
इस लिंक पर कहानी "तुम्हारे झूठ से मुझे प्यार है" का पाठ सुनें: https://youtu.be/7J3d_lg8PME
सादर!--ब्रजेन्द्रनाथ
आभार सर... पक्का सर मैं अवश्य आपकी रचनायें पढ़ूँगा...
हटाएंबहुत ही सुंदर सृजन सर।
जवाब देंहटाएंसादर
धन्यवाद अनीता जी
हटाएं